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मुख्यमंत्री समूहिक विवाह योजना में सबसे बड़ा फर्जीवाड़ा

पूनम शुक्ला : मुख्य प्रबन्ध संपादक:

त्तर प्रदेश के हरदोई जिले में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत बृहस्पतिवार को आयोजन तो भव्य हुआ, लेकिन नवविवाहित जोड़ों को योजना के तहत दिए जाने वाले उपहार नहीं दिए जा सके। दरअसल, उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में बड़ा खेल कर दिया गया। सामूहिक विवाह योजना के अंतर्गत दिए जाने वाले उपहार में फर्जीवाड़ा का मामला सामने आया ।

मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत नवविवाहित जोड़ों को सरकार की ओर से उपहार दिए जाते हैं। इनमें कपड़े, चांदी की बिछिया और पायल, डिनरसेट, कंबल, दीवार घड़ी आदि शामिल रहती हैं। इन वस्तुओं की आपूर्ति के लिए टेेंडर किया जाता है। समाज कल्याण विभाग की ओर से टेंडर की प्रकिया 20 दिन पहले पूरी कर ली गई थी। गायत्री फूड्स प्राइवेट लिमिटेड को आपूर्ति का टेंडर मिला था। इसके प्रोपराइटर हाथरस निवासी प्रदीप कुमार गाेयल हैं।

आमतौर पर उपहार में दी जाने वाली आपूर्ति आयोजन के तीन दिन पहले पहुंचाने के निर्देश होते हैं। सामग्री आने पर इसका सत्यापन नगर मजिस्ट्रेट के नेतृत्व वाली टीम करती है। हरदोई में हुए कार्यक्रम के लिए 11 नवंबर तक उपहारों की आपूर्ति होनी थी, लेकिन बुधवार यानी 13 नवंबर की शाम आपूर्ति हुई। इस पर जब डीएम मंगला प्रसाद सिंह ने सत्यापन कराने के लिए नगर मजिस्ट्रेट एसके त्रिवेदी के नेतृत्व वाली कमेटी को भेजा तो बड़ा खेल सामने आया।

मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत उपहार की आपूर्ति का टेंडर जिस फर्म को मिला था, उसने सरकार के उपहार में ही खेल कर दिया। टेंडर करते समय सैंपल देखा गया था। साढ़े पांच मीटर की साड़ी सैंपल में दिखाई, लेकिन वितरण के लिए साढ़े चार मीटर की साड़ी ही भेज दी। नौ किलो ग्राम वजन के डिनरसेट की जगह साढ़े पांच किलोग्राम का डिनरसेट भेजा। सत्यापन के दौरान मामला पकड़ा गया , जो वस्तुएं सैंपल में दिखाई गई थीं उनकी आपूर्ति न कर मानकविहीन सामग्री भेज दी गई। सामग्री भेजने की निर्धारित समय सीमा का पालन भी नहीं किया गया है। गायत्री फूड्स प्राइवेट लिमिटेड को काली सूची में डालने की संस्तुति की है। इसके प्रोपराइटर प्रदीप कुमार गोयल के खिलाफ एफआईआर के आदेश भी दिए गएहैं। 

दरअसल, उपहार की आपूर्ति का टेंडर जिस फर्म को मिला था, उसने सरकार के उपहार में ही खेल कर दिया। साढ़े पांच मीटर की साड़ी सैंपल में दिखाई, लेकिन वितरण के लिए साढ़े चार मीटर की साड़ी ही भेज दी। नौ किलो ग्राम वजन के डिनरसेट की जगह साढ़े पांच किलोग्राम का डिनरसेट भेजा। सत्यापन के दौरान मामला पकड़ा गया तो डीएम ने सामान वापस करा दिया। आपूर्तिकर्ता फर्म और प्रोपराइटर के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के आदेश डीएम मंगला प्रसाद सिंह ने दिए हैं। डीएम मंगला प्रसाद सिंह ने आपूर्तिकर्ता फर्म और प्रोपराइटर के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के आदेश दिए और शहर कोतवाली में एफआईआर दर्ज कराई गई। उन्होंने कहा कि सभी नवविवाहितों के घरों पर उपहार पहुंचाए जाएंगे। अगले 10 दिन के अंदर उपहार पहुंचाने का काम पूरा कर लिया जाएगा। किसी भी नवविवाहित जोड़े को परेशान होने की जरूरत नहीं है और न ही किसी कार्यालय का चक्कर काटने की आवश्यकता है।

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